यूपी खबरिया/ब्यूरो

महराजगंज:- जिला स्तरीय पुनरीक्षण/ परामर्श समिति और जिलास्तरीय आरसेटी सलाहकार समिति की बैठक कलेक्ट्रेट सभागार में संपन्न हुई। बैठक में जिलाधिकारी ने ऋण जमानुपात, किसान क्रेडिट कार्ड वित्तीय, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम, मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना, एक जनपद एक उत्पाद, बाबासाहेब अम्बेडकर रोजगार प्रोत्साहन योजना, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन, शहरी आजीविका मिशन वर्ष, पीएम स्वनिधि योजना, एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर फण्ड (AIF) योजना, एन. पी. ए. स्तर एवं रिकवरी सहित विभिन्न बिंदुओं की समीक्षा की गई।

जिलाधिकारी द्वारा एसबीआई और पीएनबी के कम ऋण जमानुपात पर नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने कहा कि बैंकों का ऋण जमानुपात 50% से कम अस्वीकार्य है। उन्होंने दोनों बैंकों सहित 50% से कम ऋण जमानुपात वाले बैंकों को अपना ऋण जमानुपात सुधारने का निर्देश दिया। एसबीआई का ऋण जमानुपात 45.12% जबकि पीएनबी का ऋण जमानुपात 33.42 प्रतिशत है।

जिलाधिकारी ने पीएनबी द्वारा आरबीआई के निर्देशानुसार मॉनिटरेबल एक्शन प्लान न प्रस्तुत किए जाने पर नाराजगी व्यक्त की और पीएनबी को तत्काल एलडीएम महराजगंज को योजना प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। उन्होंने सभी बैंकों को छोटे व्यापारियों और सीमांत व लघु किसानों को ऋण वितरण में प्राथमिकता देने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि शासन की मंशा है कि प्राथमिक क्षेत्र ऋण को प्राथमिकता के आधार पर वितरित किया जाए और इसमें शिथिलता स्वीकार्य नहीं है।

एनपीए लोन की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी महोदय ने 01 करोड़ वाले ऋण सहित सबसे बड़े 10 आरसी को उपलब्ध कराने का निर्देश दिया, ताकि लोन की रिकवरी सुनिश्चित कराई जा सके। उन्होंने आरसेटी की समीक्षा के दौरान कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रमों को प्रभावी ढंग से संचालित करने का निर्देश दिया। साथ ही प्रशिक्षण कार्यक्रम में नवाचारी प्रयोग करने के लिए भी कहा, ताकि नए-नए क्षेत्र में प्रशिक्षुओं को रोजगार प्राप्त हो सके।

डीसी इंडियन बैंक के बैठक में अनुपस्थित रहने की सूचना आरबीआई को प्रेषित करने हेतु एलडीएम महराजगंज को निर्देशित किया।

बैठक में एलडीओ आरबीआई दिशांत चंद्रणायन, एलडीएम अमरेश मौर्य, डीसी एनआरएलएम बी.बी. सिंह, डीसी उद्योग अभिषेक प्रियदर्शी, जिला कृषि अधिकारी वीरेंद्र कुमार सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।

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